हूती विद्रोहियों पर ट्रंप का आदेश मिलते ही कहर बनकर टूटी अमेरिकी सेना !

यमन में ईरान समर्थित हूती विद्रोहियों पर अमेरिका ने जबरदस्त हमला किया है। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के आदेश मिलते ही सेना ने हवाई हमले तेज कर दिए। ताजा जानकारी के अनुसार, इन हमलों में अब तक 19 हूती विद्रोहियों की मौत हो चुकी है और कई घायल हुए हैं।
मुख्य बिंदु:
- ट्रंप का आदेश: अमेरिका ने हूती विद्रोहियों के खिलाफ हवाई हमले किए।
- दीर्घकालिक अभियान: अमेरिकी प्रशासन ने संकेत दिए कि ये हमले आगे भी जारी रह सकते हैं।
- हूती विद्रोहियों की प्रतिक्रिया: हमले को "युद्ध अपराध" बताया, जवाबी कार्रवाई की चेतावनी।
ट्रंप की चेतावनी और अमेरिका का हमला
राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने पहले ही चेतावनी दी थी कि लाल सागर में जहाजों पर हो रहे हमलों के जवाब में "नरक की बारिश" होगी। शनिवार को अमेरिकी सेना ने हूती विद्रोहियों के ठिकानों पर जबरदस्त बमबारी की। बताया जा रहा है कि यमन की राजधानी सना पर इन हमलों से भारी तबाही हुई है।
ट्रंप ने ईरान को भी सख्त संदेश देते हुए कहा कि वह हूती विद्रोहियों को समर्थन देना तुरंत बंद करे।
क्यों हुआ अमेरिकी हमला?
हूती विद्रोहियों ने हाल ही में लाल सागर में इजराइल से जुड़े व्यावसायिक जहाजों पर हमले करने की धमकी दी थी। इन धमकियों के बाद ही अमेरिका ने सैन्य कार्रवाई का फैसला लिया। गाजा में इजराइल द्वारा मानवीय सहायता रोके जाने के विरोध में हूती विद्रोही लगातार हमले कर रहे थे।
अमेरिकी प्रशासन की प्रतिक्रिया
व्हाइट हाउस के अनुसार, यमन में हूती विद्रोहियों ने नवंबर 2023 से अब तक 100 से ज्यादा बार जहाजों को निशाना बनाया है। इससे वैश्विक व्यापार प्रभावित हुआ है और अमेरिका को इन हमलों को रोकने के लिए महंगे रक्षा अभियान चलाने पड़ रहे हैं।
व्हाइट हाउस की रिपोर्ट के मुताबिक, पहले हर साल 25,000 अमेरिकी जहाज लाल सागर से गुजरते थे, लेकिन अब यह संख्या घटकर 10,000 रह गई है। 2023 से अब तक अमेरिकी वाणिज्यिक जहाजों पर 145 बार हमला हो चुका है।
हूती विद्रोहियों की प्रतिक्रिया
हूती विद्रोहियों द्वारा संचालित स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा कि अमेरिकी हमले में 19 लोग मारे गए हैं, जिनमें 9 नागरिक शामिल हैं। हूतियों ने इसे "युद्ध अपराध" करार दिया है और कहा है कि उनके सशस्त्र बल जवाबी कार्रवाई के लिए पूरी तरह तैयार हैं।
क्या आगे होगा?
अमेरिका ने स्पष्ट कर दिया है कि जब तक हूती विद्रोही लाल सागर में जहाजों पर हमले बंद नहीं करते, तब तक सैन्य अभियान जारी रहेगा। इस संघर्ष के और बढ़ने की संभावना है, जिससे क्षेत्र में अस्थिरता और बढ़ सकती है।